12.02.2016
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अल्पसंख्यकों के लिए बजट में कुछ नया नहीं
-समाजवादी हथकरघा बुनकर पेंशन योजना शुरू होगी
-उर्दू मास कम्युनिकेशन एंड मीडिया सेन्टर
-कब्रिस्तान चहारदीवारी निर्माण की धनराशि में सौ फीसद का इजाफा
लखनऊ : समाजवादी सरकार ने अल्पसंख्यकों की शिक्षा व तरक्की की न कोई नयी योजना शुरू की है और न ही किसी योजना में कतर ब्यौंत की है। अलबत्ता एक जेब का धन दूसरे में रखकर उन्हें संतुष्ट करने का प्रयास किया है। कब्रिस्तान चहारदीवारी योजना की राशि में सौ फीसद बढ़ोत्तरी करते हुए चार सौ करोड़ कर दिया है तो छात्रवृत्ति की राशि में 137 करोड़ की कटौती कर ली है। हां, 60 साल से ऊपर केबुनकरों के लिए 'समाजवादी हथकरघा बुनकर पेंशन योजनाÓ शुरू करने की घोषणा कर अल्पसंख्यकों को लुभाने का प्रयास जरूर किया है।
अखिलेश यादव सरकार के आखिरी पूर्ण बजट में उर्दू अकादमी में उर्दू मास कम्युनिकेशन एंड मीडिया सेन्टर की स्थापना अलावा अल्पसंख्यकों को सीधे लाभांवित करने वाली कोई नयी योजना नहीं है। कब्रिस्तान की चहारदीवारी निर्माण के लिए इस बजट चार सौ करोड़ का इंतजाम है जबकि पिछले साल यह राशि दो सौ करोड़ रुपये ही थी। लेकिन सरकार ने इस बार बेहद चालाकी से अल्पसंख्यकों को छात्रों को मिलने वाली छात्रवृत्ति की धनराशि का कक्षाओं का आधार पर बंटवारा कर दिया है। अब पूर्व दशम छात्रों की छात्रवृत्ति के लिए 537 करोड़, दशमोत्तर छात्रवृत्ति के लिये 153 करोड़ और शुल्क प्रतिपूर्ति के लिए 150 करोड़ का इंतजाम किया गया जबकि वर्ष 2015-17 के बजट में अखिलेश सरकार ने छात्रवृत्ति की मद में सीधे 977 करोड़ का इंतजाम किया था, पिछले साल की तुलना में इस मद में 137 करोड़ की कटौती की गयी है। इसी तरह सरकार ने 46 और मकतबों, मदरसों को अनुदान सूची में शामिल करने का फैसला किया मगर कोई धनराशि नहीं दी है, इसके लिए मौजूदा वित्तीय वर्ष की बची राशि का इस्तेमाल किया जाएगा।
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-मदरसों, मकतबों में आधुनिक शिक्षा के लिए 394 करोड़
-अल्पसंख्यक बहुल क्षेत्रों में मूलभूत सुविधा बढ़ाने के के लिए मल्टी सेक्टोरल डिस्ट्रिक्ट डेवलपमेन्ट प्लान (एमएसडीपी) के लिए 395 करोड़ की व्यवस्था
-दारुल मंसफीन (शिब्ली एकेडमी) आजमगढ़ को पुस्तकालय निर्माण के लिए पांच लाख
-पावरलूम विकास योजना के लिए 15 करोड़ रुपये दिये जाएंगे
-60 साल के ऊपर के हथकरघा बुनकरों की पेंशन योजना के लिए 30 करोड़
-हथकरघा बुनकरों को रियायती दर पर विद्युत आपूर्ति के लिए 5 करोड़ व धुनकरों को सस्ती दर पर विद्युत आपूर्ति के लिए दो करोड़
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अल्पसंख्यकों के लिए बजट में कुछ नया नहीं
-समाजवादी हथकरघा बुनकर पेंशन योजना शुरू होगी
-उर्दू मास कम्युनिकेशन एंड मीडिया सेन्टर
-कब्रिस्तान चहारदीवारी निर्माण की धनराशि में सौ फीसद का इजाफा
लखनऊ : समाजवादी सरकार ने अल्पसंख्यकों की शिक्षा व तरक्की की न कोई नयी योजना शुरू की है और न ही किसी योजना में कतर ब्यौंत की है। अलबत्ता एक जेब का धन दूसरे में रखकर उन्हें संतुष्ट करने का प्रयास किया है। कब्रिस्तान चहारदीवारी योजना की राशि में सौ फीसद बढ़ोत्तरी करते हुए चार सौ करोड़ कर दिया है तो छात्रवृत्ति की राशि में 137 करोड़ की कटौती कर ली है। हां, 60 साल से ऊपर केबुनकरों के लिए 'समाजवादी हथकरघा बुनकर पेंशन योजनाÓ शुरू करने की घोषणा कर अल्पसंख्यकों को लुभाने का प्रयास जरूर किया है।
अखिलेश यादव सरकार के आखिरी पूर्ण बजट में उर्दू अकादमी में उर्दू मास कम्युनिकेशन एंड मीडिया सेन्टर की स्थापना अलावा अल्पसंख्यकों को सीधे लाभांवित करने वाली कोई नयी योजना नहीं है। कब्रिस्तान की चहारदीवारी निर्माण के लिए इस बजट चार सौ करोड़ का इंतजाम है जबकि पिछले साल यह राशि दो सौ करोड़ रुपये ही थी। लेकिन सरकार ने इस बार बेहद चालाकी से अल्पसंख्यकों को छात्रों को मिलने वाली छात्रवृत्ति की धनराशि का कक्षाओं का आधार पर बंटवारा कर दिया है। अब पूर्व दशम छात्रों की छात्रवृत्ति के लिए 537 करोड़, दशमोत्तर छात्रवृत्ति के लिये 153 करोड़ और शुल्क प्रतिपूर्ति के लिए 150 करोड़ का इंतजाम किया गया जबकि वर्ष 2015-17 के बजट में अखिलेश सरकार ने छात्रवृत्ति की मद में सीधे 977 करोड़ का इंतजाम किया था, पिछले साल की तुलना में इस मद में 137 करोड़ की कटौती की गयी है। इसी तरह सरकार ने 46 और मकतबों, मदरसों को अनुदान सूची में शामिल करने का फैसला किया मगर कोई धनराशि नहीं दी है, इसके लिए मौजूदा वित्तीय वर्ष की बची राशि का इस्तेमाल किया जाएगा।
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-मदरसों, मकतबों में आधुनिक शिक्षा के लिए 394 करोड़
-अल्पसंख्यक बहुल क्षेत्रों में मूलभूत सुविधा बढ़ाने के के लिए मल्टी सेक्टोरल डिस्ट्रिक्ट डेवलपमेन्ट प्लान (एमएसडीपी) के लिए 395 करोड़ की व्यवस्था
-दारुल मंसफीन (शिब्ली एकेडमी) आजमगढ़ को पुस्तकालय निर्माण के लिए पांच लाख
-पावरलूम विकास योजना के लिए 15 करोड़ रुपये दिये जाएंगे
-60 साल के ऊपर के हथकरघा बुनकरों की पेंशन योजना के लिए 30 करोड़
-हथकरघा बुनकरों को रियायती दर पर विद्युत आपूर्ति के लिए 5 करोड़ व धुनकरों को सस्ती दर पर विद्युत आपूर्ति के लिए दो करोड़
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